” चला ढूढ़ने जीवन को ” Uttam Kumar June 25, 2025 Poems 0 Comments यह कविता जीवन की उस रहस्यमय दिशा की तलाश है, जहाँ कोई पदचिन्ह नहीं और कोई उत्तर नहीं। कवि उस अज्ञात छोर की ओर देखता… Spread the love
“रिश्ते (गजल ) दो छायाओं के बीच अनकहे जुड़ाव ।” Babita Kumawat June 23, 2025 Poems 4 Comments गजल – रिश्ते रिश्तों में विसाल उतना है जरूरी, मेरे लिए हर सिम्त में रिश्ते है जरूरी पर कुछ लोग बना देते है मैदान-ए-मतकल, मेरी… Spread the love
रिश्ते -कविता हिंदी रचियता महादेव प्रेमी Hindi Poem Rishte Mahadev Prashad Premi May 1, 2024 Hindi poems 0 Comments जब रिश्तों में स्वार्थ और लोभ का ज़हर घुल जाता है, तब वर्षों से सहेजे संबंध भी टूटने लगते हैं। मनुष्यता की नींव पर जब… Spread the love
शिव और शक्ति: एकत्व का परिवेश-कविता रचना -डॉ मुकेश डॉ मुकेश 'असीमित' March 9, 2024 Poems 0 Comments शिव समाधि हैं, शक्ति संचलन। एक निःशब्द ऊर्जा, दूसरी जीवंत स्पंदन। जब दोनों मिलते हैं, तब ब्रह्मांड बोल पड़ता है—सृष्टि का रहस्य, शिव-शक्ति की अद्वितीयता… Spread the love
“Social distancing के दौर में कोरोना” हिंदी कविता Mahadev Prashad Premi February 2, 2024 Poems 0 Comments कोरोना के दौर में जब कवियों की भीड़ ग़ज़लों को ‘वायरल’ करने में लगी है, कवि व्यंग्य में यही कामना करता है कि खुद कोरोना… Spread the love
नववर्ष मंगलमय (नववर्ष विशेष) -व्यग्र पाण्डेय Vyagra Pandey December 25, 2020 Blogs 1 Comment नव वर्ष मंगलमय -हिंदी कविता नव बर्ष विशेस कवी सम्राट व्यग्र पाण्डेय द्वारा रचित Spread the love
कुछ चुनिंदा शायरियां डॉ दिनेश द्वारा रचित Dr Dinesh Gupta June 19, 2020 Poems 0 Comments पढ़े डॉ दिनेश गुप्ता द्वारा रचित कुछ चुनिंदा शायरियां। चुने बात अपने देश की को अपने लेख कविता विचार प्रकाशन हेतु ज्यादा जानकारी के लिए… Spread the love
बुझोबल पहेली संग्रह को समर्पित रचना मनीष “माना” द्वारा May 15, 2020 Poems 2 Comments सुप्र्शिद्ध कवी महादेव प्रेमी द्वारा संकलित एवं रचित प्रथम पुस्तक बुझोबल को समर्पित यह रचना Spread the love
शीर्षकहीन हिंदी कविता -डा संजय जैन रचित Sanjaya Jain May 15, 2020 Poems 0 Comments Many situations, One description. Interpretation is all yours. an untitled poem by Dr. Sanjay Jain Spread the love
“ज्यों जल” हिंदी कविता by Mahadev Premi Mahadev Prashad Premi May 10, 2020 हिंदी कविता 1 Comment नाव में बढ़ा जल और घर में बढे धन दौलत की एक ही दशा होती है. जैसे नाव में बढ़ा जल अगर अंजलि भर भर… Spread the love