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Tag: #डॉमुकेशअसीमित

एक संकरे किराए के कमरे में बैठा एक युवक किताब लिए चिंतित मुद्रा में है, पीछे दीवार पर छिलकी पड़ी है, पास में एक बाल्टी, आधा जला बल्ब, और बाहर भैंस बंधी हुई दिख रही है — मकान मालिक बालकनी से उसे घूर रहा है।

किराएदार की व्यथा: एक हास्य-व्यंग्य रचना

इस रचना में किराएदार की ज़िंदगी की उन अनकही व्यथाओं को हास्य और व्यंग्य के लहज़े में उजागर किया गया है, जिन्हें हम सभी कभी…